गंगनानी में बीआरओ ने वैली ब्रिज का निर्माण किया, धराली आपदा के बाद आवाजाही शुरू
उत्तरकाशी। धराली आपदा के बाद गंगोत्री राजमार्ग पर गंगनानी के पास लिम्चागाड़ के पास हाईवे का आधा हिस्सा बह गया

गंगनानी में बीआरओ ने वैली ब्रिज का निर्माण किया, धराली आपदा के बाद आवाजाही शुरू
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कम शब्दों में कहें तो उत्तरकाशी में धराली आपदा ने गंगोत्री राजमार्ग पर ऐतिहासिक सुधार लाने की दिशा में कदम बढ़ाया है।
उत्तरकाशी। हाल ही में हुए धराली आपदा के बाद गंगोत्री राजमार्ग पर गंगनानी के पास स्थित लिम्चागाड़ का एक बड़ा हिस्सा बाढ़ में बह गया था। इस कठिन परिस्थिति को ध्यान में रखते हुए सीमा सड़क संगठन (बीआरओ) ने तेजी से एक वैली ब्रिज का निर्माण कार्य आरंभ किया है। यह ब्रिज रविवार को पैदल आवाजाही के लिए खुल गया है, और प्रशासन ने दावा किया है कि शाम तक वाहनों की आवाजाही भी शुरू कर दी जाएगी। बीआरओ के अधिकारियों ने उम्मीद जताई है कि गंगोत्री हाईवे को सामान्य रूप में चार दिनों के अंदर फिर से खोलने की योजना है।
धराली आपदा का प्रभाव
धराली आपदा ने स्थानीय क्षेत्र में भारी तबाही मचाई है, जिससे हजारों लोगों को कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है। इस आपदा के चलते स्थानीय परिवहन व्यवस्था को बड़ा झटका लगा है। बीआरओ की प्रभावशाली मेहनत के कारण, क्षेत्र में बुनियादी ढांचे की सुधार प्रक्रिया तेज़ी से चल रही है। बैकअप नदी में आई बाढ़ ने गंगोत्री राजमार्ग के आधे हिस्से को बहा दिया था, जिससे यातायात ठप हो गया। यह स्थिति स्थानीय निवासियों और पर्यटकों के लिए खासा चिंता का विषय बन गई थी।
बीआरओ का प्रयास
बीआरओ ने वैली ब्रिज का निर्माण कर एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। यह पुल न सिर्फ स्थानीय लोगों के लिए बल्कि वाहन चालकों के लिए भी सुरक्षित आवागमन का अवसर प्रदान करेगा। बीआरओ के अधिकारियों के अनुसार, गंगोत्री हाईवे को जल्द ही फिर से खोलने की योजना है, जिससे परिवहन व्यवस्था को सुचारु रूप से बहाल किया जा सकेगा।
गंगनानी में बीआरओ द्वारा निर्मित वैली ब्रिज ने स्थानीय समुदाय में नई आशा जगा दी है। इस संतोषजनक विकास के बाद, प्रशासन ने दावा किया है कि अगले कुछ दिनों में इस क्षेत्र की स्थिति को सामान्य बनाने के लिए विशेष प्रयास किए जाएंगे।
प्रशासन की तत्परता
आपदा के सामने, प्रशासन ने लगातार निगरानी और व्यवस्था बनाए रखने का कार्य किया है। लोगों तक राहत पहुंचाने के लिए तत्परता से कार्य किए गए हैं। प्रशासन और बीआरओ ने मिलकर युद्ध स्तर पर काम करते हुए आवाजाही को सुगम बनाया है। ऐसे प्रयासों से यह साबित होता है कि प्रशासन आपदा प्रबंधन में कितनी गहनता से कार्य कर रहा है।
निष्कर्ष
धराली आपदा के बाद बीआरओ का यह प्रयास वास्तव में सराहनीय है। उनकी लगातार कोशिशों के फलस्वरूप, स्थानीय समुदाय को राहत मिलेगी और सामान्य स्थिति को पुनः स्थापित किया जाएगा। उम्मीद है कि गंगोत्री हाईवे जल्दी फिर से चालू होगा, जिससे स्थानीय आर्थिक गतिविधियाँ बढ़ेंगी और क्षेत्र का विकास होगा।
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